जिले की एक अदालत ने गिरोहबंद अधिनियम में निरुद्ध गोकशी के अभियुक्त की जिला प्रशासन द्वारा संपत्ति कुर्क करने के आदेश को सही ठहराया है।
जिलाधिकारी (डीएम) ने सोमवार को यह दावा किया है कि उत्तर प्रदेश में यह पहला बड़ा मामला है जिस पर अदालत ने अपनी स्वीकृति दी है और अब इस संपत्ति का उपयोग आम जनता के लिए किया जाएगा।
बुलंदशहर के जिलाधिकारी चंद्रप्रकाश सिंह व वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक श्लोक कुमार ने सोमवार को पत्रकारों को बताया कि गुलावठी क्षेत्र में गोकशी के मामलों के अभियुक्त मकसूद की नौ लाख 18 हजार रुपये की संपत्ति कुर्क की गई थी जिसके संदर्भ में मकसूद ने विशेष न्यायाधीश (गैंगस्टर अधिनियम) बुलंदशहर की अदालत में अपील की थी।
अधिकारियों ने बताया कि अदालत ने जिलाधिकारी बुलंदशहर द्वारा छह सितंबर, 2022 को पारित कुर्की के आदेश को सही ठहराया है। जिलाधिकारी ने बताया कि उत्तर प्रदेश के इतिहास में गैंगस्टर अधिनियम में इस तरह का पहला बड़ा फैसला है।
लखनऊ में सोमवार की शाम जारी एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि अपराध के खिलाफ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के जीरो टॉलरेंस की नीति का ही असर है कि प्रदेश में बड़े माफिया और गैंगस्टर पनाह मांग रहे हैं।
बुलंदशहर (उत्तर प्रदेश), छह फरवरी (भाषा)