डाला-सोनभद्र। एक तरफ केंद्र व प्रदेश की सरकार आदिवासियों को उनका हक दिलाने के लिए वनाधिकार के तहत पट्टे सौंप रही है तो वहीं वन विभाग के अधिकारी अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहे वह आदिवासियों पर कहर बरपा रहे हैं ऐसा ही एक सनसनीखेज मामला सामने आया है विकासखंड चोपन अंतर्गत कोटा ग्राम पंचायत के तेलगुड़वा का जहां पीड़ित कन्हई पुत्र रामप्रसाद को 20 वर्ष पुर्व वनाधिकार के तहत 1 बीघा पट्टा मिला था जिसपर उनके द्वारा वर्षों से जोतकोड़ की जा रही थी बुधवार को अपनी जमीन पर जोत कोड़ करने के बाद वह घर पहुंच कर खाना खा रहे थे की उसी दौरान वन विभाग के कर्मचारी इरफान और देवी मौके पर पहुंचकर उन्हें भद्दी भद्दी गालियां देने लगे और उन्हें उसी समय उठाकर वन विभाग कार्यालय तेलगुड़वा ले गए और कमरे में बंद कर उन्हें बेहोश होने तक लाठी डंडे से मारते पीटते रहे इसके बाद उन्हें कमरे में ताला बंद कर चले गए दो-तीन घंटे बाद वापस आकर पीड़ित को धमकी देते हुए छोड़ दिया, पीड़ित ने बताया कि चोट इतनी गंभीर है कि सूजन के साथ पैरों में गांठ पड़ गयी है उन्हें लाठी के सहारे चलना पड़ रहा है, और तबीयत भी खराब है, बताते चलें की जनपद में सुबे के समाज कल्याण राज्यमंत्री संजीव सिंह गौड़ आदिवासी समाज से आते हैं और आदिवासियों के उत्थान के लिए कटिबद्ध भी हैं लेकिन वन विभाग के इस तानाशाही और क्रूर रवैये से आदिवासी समाज के लोगों में भय का माहौल बना है ।
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