बांदा के मरका घाट से फतेहपुर जा रही नाव यमुना नदी में संतुलन बिगड़ने से डूब गई। उसमें सवार 30 से 40 लोग लापता हैं, इसमें बच्चों समेत 20 से 25 महिलाएं बताई जा रही हैं।
ये महिलाएं रक्षाबंधन पर राखी बांधने के लिए मायके जा रही थीं। गोताखारों ने लापता लोगों की तलाश शुरू कर दी है और अबतक चार शव निकाल चुके हैं।
रक्षाबंधन पर्व पर समगरा गांव से महिलाएं व लोग मरका घाट पर पहुंचे थे। यमुना नदी पार करके फतेहपुर जिले के असोथर घाट जाने के लिए नाव पर करीब 50 लोग सवार हुए थे।
यमुना नदी में बीच धारा में पहुंचते ही नाव असंतुलित होकर पलट गई। नाव में सवार सभी लोग डूब गए लेकिन नाविक तैरकर किनारे पर आ गए।
नाव डूबने के बाद करीब तीस से चालीस लोगों का पता नहीं चला है। नाव पर क्षमता से ज्यादा लोगों के बैठने से घटना होने की बात कही जा रही है। मरका घाट पर आसपास के ग्रामीणों की भीड़ एकत्र हो गई है। नाव में सवार लापता महिलाओं की संख्या करीब 20 से 25 बताई जा रही है।
आसपास के गावों से गोताखोरों ने लापता लोगों की तलाश शुरू कर दी है और अबतक चार शव निकाले जा चुके हैं। अभी मरने वालों की पहचान नहीं हुई है।
जानकारी के बाद जिलाधकारी अनुराग पटेल घटनास्थल के लिए रवाना हो गए हैं। वहीं पुलिस फोर्स और प्रशासनिक अफसर भी पहुंच गए हैं।
नाव पलटने के बाद तैरकर घाट पर पहुंचे समगरा गांव निवासी गयाप्रसाद निषाद ने बताया कि नाव में करीब 50 लोग सवार थे। इसमें 22 महिलाएं व बच्चे भी हैं।
तेज हवा के चलते लहर उठी और नाविक संतुलन नहीं बना सका, जिससे नाव नदी में पलट गई। वह तैरकर किसी तरह किनारे पहुंचे हैं।